मुंबई। फिल्म आदिपुरुष में कृति सैनॉन, प्रभास और निर्देशक ओम राउत अपनी फिल्म रिलीज होने के पहले आशीर्वाद लेने के लिए तिरुपति मंदिर गए। अभिनेत्री कृति सैनॉन और ओम राउत का एक वीडियो सोशल मीडिया पर सामने आया है। जिसमें मंदिर के बाहर निकलने से पहले दोनों एक-दूसरे के गालों को किस करते नजर आ रहे हैं। जिस पर अब विवाद काफी ज़ोरों से चल रहा है। रामानंद सागर की रामायण में देवी सीता की भूमिका निभाने वाली दीपिका चिखलिया ने भी विवाद में अपना पक्ष रखा है। तो आइए जानते है क्या-क्या बोली दीपिका चिखलिया।
दीपिका चिखलिया ने अपने में और कृति में फर्क बताया
दीपिका चिखलिया ने कृति सैनॉन और ओम राउत के चुंबन विवाद पर प्रतिक्रिया व्यक्त की, उन्होंने कहा की, मेरा मानना है कि, आजकल के अभिनेताओं के साथ यह एक समस्या है, क्योंकि वे न तो चरित्र में प्रवेश करते हैं और न ही उनकी भावनाओं को समझते हैं। उनके लिए रामायण सिर्फ एक फिल्म रही होगी, शायद वह इससे आध्यात्मिक स्तर से नहीं जुड़ी हैं। कृति आज की पीढ़ी की अभिनेत्री हैं। आज के दौर में किसी को किस करना या गले लगाना एक स्वीट जेस्चर माना जाता है। उन्होंने अपने आप को इस फिल्म में सीता जी नहीं समझा होगा। यह भावनाओं का विषय बन जाता है। मैंने सीता के किरदार को जिया है, जबकि आज की अभिनेत्रियां उसे सिर्फ एक भूमिका समझती हैं। फिल्म या प्रोजेक्ट खत्म होने के बाद उन्हें कोई फर्क नहीं पड़ता है।
दीपिका चिखलिया ने अपने समय की कुछ बाते बताई
अब हम अपनी बात करते हैं। तो आपको बता दे कि, सेट पर कभी किसी ने हमारा नाम नहीं लिया । जब हम अपने किरदारों में होते थे, तो सेट पर ही कई लोग आकर हमारे पैर छूते थे। वह एक अलग ही युग था। उस समय वे हमें अभिनेताओं के रूप में नहीं देखते थे, उन्होंने हमें देवताओं के रूप में देखा है। हम किसी को गले भी नहीं लगा सकते थे, किस तो दूर की बात है।
दीपिका चिखलिया ने बोला की आप तो भूल जाएंगे
रिलीज़ के बाद आदिपुरुष के अभिनेता भी अपनी अगली परियोजनाओं में व्यस्त हो जाएंगे और अपने पात्रों के बारे में भूल सकते हैं। लेकिन हमारे साथ ऐसा कभी नहीं हुआ। हमारे साथ ऐसा व्यवहार किया जाता था, जैसे की हम ऊपर से उतरे हुए देवता हों और इस दुनिया में रह रहे हों। इसलिए हमने कभी भी ऐसा कुछ नहीं किया जिससे लोगों की भावनाएं को ठेस पहुंचे।