पिछड़े वर्ग के हितों की वकालत करने वाले और दो बार बिहार के मुख्यमंत्री रह चुके कर्पूरी ठाकुर को ‘मरणोपरांत भारत रत्न’ से सम्मानित किया जाएगा। 24 जनवरी यानि आज कर्पूरी ठाकुर की 100वीं जयंती है। उनकी जयंती से एक दिन पहले ही केंद सरकार की ओर से कर्पूरी ठाकुर को भारत रत्न देने का ऐलान किया गया है। काफी लंबे समय से बिहार की ओर से कर्पूरी ठाकुर को ‘भारत रत्न’ देने की मांग की जा रही थी।
कर्पूरी ठाकुर का जन्म समस्तीपुर जिले के पितौझिया गांव में हुआ था। कर्पूरी ठाकुर ने पटना से साल 1940 में मैट्रिक परीक्षा पास की और इसके बाद स्वतंत्रता आंदोलन में शामिल हुए। जिसके बाद उन्होंने समाजवाद का रास्ता चुना। वे साल 1942 में गांधी के असहयोग आंदोलन में भी शामिल हुए, जिसके चलते उन्हें जेल में भी रहना पड़ा। कर्पूरी ठाकुर बिहार के दूसरे उपमुख्यमंत्री और दो बार मुख्यमंत्री रह चुके है ।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोशल मीडिया X पर पोस्ट में लिखा, ”मुझे बहुत खुशी है कि, भारत सरकार ने सामाजिक न्याय के प्रतीक महान जननायक कर्पूरी ठाकुर जी को भारत रत्न से सम्मानित करने का निर्णय लिया है, और वह भी ऐसे समय में जब हम उनकी जन्म जयंती मना रहे हैं। यह लोगों के लिए एक योद्धा समानता और सशक्तीकरण के दिग्गज के रूप में उनके स्थायी प्रयासों का एक प्रमाण है”। पीएम मोदी ने आगे लिखा, “यह पुरस्कार न केवल उनके उल्लेखनीय योगदान का सम्मान करता है, बल्कि हमें एक अधिक न्यायपूर्ण और न्यायसंगत समाज बनाने के उनके मिशन को जारी रखने के लिए भी प्रेरित करता है।”
कर्पूरी ठाकुर साल 1970 में पहली बार बिहार के मुख्यमंत्री बने थे। 22 दिसंबर 1970 को उन्होंने पहली बार मुख्यमंत्री पद की कमान संभाली थी। उनका पहला कार्यकाल करीबन 163 दिन का रहा था। उसके बाद जब साल 1977 में भी जनता पार्टी को भारी जीत मिली और कर्पूरी ठाकुर दूसरी बार बिहार के मुख्यमंत्री बने। उन्होंने अपने कार्यकाल में गरीबों, पिछड़ों और अति पिछड़े लोगों के हक में ऐसे कई काम किए, जिससे बिहार की सियासत में काफी परिवर्तन आ गया। इसके बाद कर्पूरी ठाकुर की राजनीतिक ताकत में जबरदस्त इजाफा हुआ और वो बिहार की सियासत में समाजवाद का बड़ा चेहरा बन गए।
भारत रत्न पाने वाले कर्पूरी ठाकुर बिहार से तीसरे नेता है। इससे पहले देश के पहले राष्ट्रपती डॉ. राजेन्द्र प्रसाद व लोकनायक जयप्रकाश नारायण को यह सम्मान दिया गया था। अभी तक देश में कुल 48 हस्तियों को भारत रत्न से सम्मानित किया जा चुका है।