नवाज शरीफ की पार्टी पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (PML-N) और पाकिस्तान पीपल्स पार्टी (PPP) ने एक दूसरे के साथ गठबंधन कर एक नई सरकार बनाने के लिए समझौता किया है। यह फैसला 8 फरवरी को हुए आम चुनावों के बाद गहरी बातचीत के बाद लिया गया है। यह पाकिस्तान के लिए एक महत्वपूर्ण खबर है, क्योंकि इसी के साथ देश को अपनी नई सरकार और नया प्रधानमंत्री मिलेगा।
कैसे हुआ गठबंधन?
पाकिस्तान में सरकार बनाने के लिए, किसी भी पार्टी को 265 सदस्यीय विधानसभा में 133 सीटें की बहुमत जरूरी होती है। PML-N ने चुनाव में 75 सीटें जीतीं थी और PPP ने 54 सीटों जीती थी। इसके अलावा मुत्ताहिदा कौमी मूवमेंट पाकिस्तान (MQM-P) ने अपनी 17 सीटें गठबंधन के समर्थन में दे दी थी। जिससे PML-N और PPP दोनों ही पार्टियों के पास संयुक्त रूप से बहुमत की सरकार बनाने के लिए नेशनल असेंबली में पर्याप्त सीटें हो गई थी। जिसके बाद दोनों पार्टियों का गठबंधन का फैसला तय हुआ।
कैसे होगा पदों का वितरण?
यह समझौता सत्ता के बंटवारे में निर्भर करता है। इसके तहत PML-N अध्यक्ष शहबाज शरीफ दूसरी बार प्रधानमंत्री बनेंगे, जबकि PPP के अध्यक्ष आसिफ अली जरदारी राष्ट्रपति पद संभालेंगे। PML-N संघीय सरकार में अपना नेतृत्व संभालेगी। जबकि PPP सिंध और बलूचिस्तान प्रांतों में गवर्नरशिप जैसे प्रमुख पदों का नियंत्रण करेगी। इसके अलावा, दोनो ही पार्टियों ने बलूचिस्तान में समान कैबिनेट प्रतिनिधित्व करने के साथ एक संयुक्त सरकार बनाने पर सहमति दी हैं। दोनों पार्टियों ने राज्यपाल पदों को साझा करने पर भी अपनी सहमत दी हैं।
इस फैसले में लोगों की प्रतिक्रिया
इस सौदे की पूर्व प्रधान मंत्री इमरान खान की पार्टी पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (PTI) ने बहुत आलोचना की है। PTI का दावा है कि, यह फैसला सत्ता पर कब्जा करने का एक नाजायज प्रयास का प्रतिनिधित्व करता है। PTI ने गठबंधन की “पाकिस्तान डेमोक्रेटिक मूवमेंट (PDM) 2.0” के रूप में तुलना करते हुए आलोचना की है। दरअसल, PDM 11 पार्टियों का गठबंधन था, जिसने अप्रैल 2022 में अविश्वास मत के माध्यम से इमरान को बाहर कर दिया था।