14 फरवरी, एक तारीख जिसे हम वैलेंटाइन्स डे के तौर पर ही ज़्यादा याद रखते हैं। मगर 14 फरवरी 2019 को कुछ ऐसा हुआ था, जिसके बाद पूरा देश शोक में डूब गया था और उस दर्दनाक मंज़र की टीस आज भी ज़िंदा हैं। जी हां, बात हो रही हैं पुलवामा में हुए आतंकी हमले की, जिसमें CRPF के 40 सैनिक वीरगति को प्राप्त हुए थे। हमारे वीर सपूतों के परिवारों की खुशियां उजड़ गई थी साथ ही पूरा देश भी गमगीन हो गया था।
आज हम उस घटना की छठी बरसी बना रहे हैं। इस अवसर पर हम उन सभी बलिदानियों को श्रद्धासुमन अर्पित करते हैं, जो अपनी जान को दांव पर लगाते हैं, ताकि हमारे जैसे आम लोग चैन से ज़िंदगी जी सकें।
क्या हुआ था उस काले दिन पर?
6 साल पहले, दोपहर तकरीबन 3 बजे पाकिस्तान स्थित संगठन JeM के 22 वर्षीय आत्मघाती हमलवार आदिल अहमद डार ने लगभग 200 किलोग्राम explosives से भरी modified Maruti ECCO गाड़ी से सुरक्षाबलों की एक बस को निशाना बनाया था, जिसमें CRPF के 40 सैनिक शहीद हो गए थे और 35 घायल हो गए थे। बस NH – 44 पर जम्मू से श्रीनगर जा रहे 2,500 अर्धसैनिक बल और 78 गाड़ियों के एक बड़े काफिले का हिस्सा थी। इस हमले के बाद खुफिया जानकारी के आधार पर 18 फरवरी को एक ऑपरेशन चलाया गया था, जिसमें 2 आतंकवादियों और उनके समर्थकों को मारा गया था।
किस तरह लिया था बदला?
इस हमले का मुंहतोड़ जवाब देते हुए भारतीय वायुसेना द्वारा 26 फरवरी 2019 को चर्चित बालाकोट एयर स्ट्राइक की गई थी, जिसमें बड़ी संख्या में आतंकी कैंप्स को तबाह किया गया था जिसमें तकरीबन 300-350 आतंकवादियों के मरने का अनुमान हैं। एयर स्ट्राइक में आतंकवादियों के साथ उनके प्रशिक्षक और कमांडर भी मारे गए थे।
हम हर उस वीर को याद रखेंगे, जिसने अपनी जान देकर देश की रक्षा को सुनिश्चित किया हैं।