By using this site, you agree to the Privacy Policy
Accept
May 16, 2025
The Fourth
  • World
  • India
  • Politics
  • Sports
  • Business
  • Tech
  • Fourth Special
  • Lifestyle
  • Health
  • More
    • Travel
    • Education
    • Science
    • Religion
    • Books
    • Entertainment
    • Food
    • Music
Reading: वहीं दिन, वही दास्तां : राजीव गांधी हत्याकांड के आरोपियों को मौत की सजा सुनाई गई, फिर गांधी परिवार ने किया माफ़!
Font ResizerAa
The FourthThe Fourth
Search
  • World
  • India
  • Politics
  • Sports
  • Business
  • Tech
  • Fourth Special
  • Lifestyle
  • Health
  • More
    • Travel
    • Education
    • Science
    • Religion
    • Books
    • Entertainment
    • Food
    • Music
Follow US
rajiv gandhi - The Fourth
Fourth Special

वहीं दिन, वही दास्तां : राजीव गांधी हत्याकांड के आरोपियों को मौत की सजा सुनाई गई, फिर गांधी परिवार ने किया माफ़!

28 मई 1991 का दिन भारतीय राजनीति के लिए एक काला दिन साबित हुआ।

Last updated: जनवरी 28, 2025 3:09 अपराह्न
By Rajneesh 4 महीना पहले
Share
5 Min Read
SHARE

राजीव गांधी, 1984 से 1989 तक भारत के प्रधानमंत्री रहे थे, 1991 के आम चुनाव के प्रचार के लिए वे एक बार तमिलनाडु गए थे। 21 मई की रात को, जब वह श्रीपेरुंबुदूर में एक रैली में जनता से मिलने जा रहे थे, तब एक महिला, जिसने नीले रंग की सलवार-कुर्ता पहनी हुई थी, उनके पास आई। यह महिला LTTE यानी लिबरेशन टाइगर्स ऑफ तमिल ईलम की human bomber धनु थी, जिसका असली नाम तेनमोझी राजरत्नम था। धनु जैसे ही राजीव गांधी के पैर छूने के बहाने उनके पास आई, उसने अपने शरीर पर बंधे bombing बेल्ट को उड़ा दिया। धमाका इतना तीव्र था कि राजीव गांधी और वहां मौजूद 14 अन्य लोग तुरंत मारे गए। यह घटना LTTE द्वारा किए गए सबसे बड़ी आतंकवादी हमलों में से एक मानी जाती है, जिसका उद्देश्य श्रीलंका में तमिल अलगाववादी आंदोलन को भारत के समर्थन से हटाना था।

28 मई 1991 का दिन भारतीय राजनीति के लिए एक काला दिन साबित हुआ। तमिलनाडु के श्रीपेरुंबुदूर में एक चुनावी रैली के दौरान भारत के पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की हत्या ने पूरे देश को स्तब्ध कर दिया। यह घटना न केवल भारत बल्कि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी चर्चा का विषय बनी। इस हत्याकांड के पीछे की साजिश, इसके आरोपी, और अदालत के फैसले ने भारतीय न्याय प्रणाली और राजनीति पर गहरा प्रभाव डाला।

हत्या के पीछे LTTE का हाथ होने की पुष्टि भारत सरकार और जांच एजेंसियों ने जल्दी ही कर दी। इस मामले की जांच CBI की स्पेशल यूनिट TADA को सौंपी गई। जस्टिस मिलाप चंद जैन की अध्यक्षता में गठित ‘जैन आयोग’ ने इस घटना की तह तक जाने का काम किया।

LTTE की नेता वेलुपिल्लई प्रभाकरण और उसके सहयोगियों ने यह साजिश रची थी। श्रीलंका में भारत द्वारा शांति सेना भेजने और LTTE के खिलाफ सैन्य कार्रवाई से LTTE नाराज था। LTTE ने राजीव गांधी को तमिलों के दुश्मन के रूप में देखा और उनकी हत्या की योजना बनाई।

इस मामले में कुल 26 लोगों को मुख्य आरोपी बनाया गया। इनमें से कुछ मुख्य नाम थे: – मुरुगन, नलिनी, पेरारिवालन और संतन। नलिनी, जो मुरुगन की पत्नी थी, उस वक्त धनु के साथ थी और हत्याकांड की मुख्य गवाह बनी। धनु के शरीर के अवशेष और घटनास्थल से मिले अन्य साक्ष्यों के आधार पर आरोपियों को पकड़ा गया।

इस मामले की सुनवाई TADA अदालत में हुई। 28 जनवरी 1998 को अदालत ने 26 में से 7 आरोपियों को मौत की सजा सुनाई। अन्य आरोपियों को उम्रकैद की सजा दी गई।

नलिनी को दोषी ठहराया गया और मौत की सजा सुनाई गई, लेकिन बाद में उसकी सजा तमिलनाडु सरकार द्वारा उम्रकैद में बदल दी गई। पेरारिवालन, जिसने विस्फोटक बैटरी खरीदने में मदद की थी, को भी दोषी ठहराया गया। मुरुगन और संतन को भी मौत की सजा सुनाई गई।

इस मामले में कई सालों तक अपील और पुनर्विचार याचिकाएं दायर की गईं। 2000 में नलिनी की सजा को उम्रकैद में बदला गया, जब सोनिया गांधी ने उसे माफ करने की सिफारिश की। पेरारिवालन का मामला भी सालों तक सुर्खियों में रहा। उसने बार-बार कहा कि उसे गलत तरीके से फंसाया गया है और वह निर्दोष है। 2022 में, भारत के सुप्रीम कोर्ट ने ‘पेरारिवालन’ को रिहा कर दिया। अदालत ने कहा कि तमिलनाडु सरकार ने उसकी सजा माफ करने की सिफारिश की थी और इसमें कोई कानूनी बाधा नहीं थी।

2023 में, तमिलनाडु सरकार की सिफारिश पर राष्ट्रपति ने बाकी दोषियों की सजा भी माफ कर दी, और उन्हें रिहा कर दिया गया।

राजीव गांधी की हत्या भारतीय राजनीति में एक बड़ा मोड़ साबित हुई। यह घटना न केवल कांग्रेस पार्टी के लिए एक झटका थी, बल्कि देश में आतंकवाद और सुरक्षा के मुद्दों पर भी नई बहस शुरू हुई। इस घटना ने LTTE के प्रति भारत की नीति को हमेशा के लिए बदल दिया। LTTE को एक आतंकवादी संगठन घोषित किया गया, और भारत ने उसके खिलाफ सख्त कदम उठाए।

राजीव गांधी की हत्या भारतीय इतिहास की सबसे दुखद घटनाओं में से एक है। इस मामले में न्याय पाने में दशकों का समय लगा, लेकिन यह घटना एक चेतावनी के रूप में हमेशा याद रखी जाएगी कि आतंकवाद और राजनीतिक हिंसा किसी भी देश को किस हद तक नुकसान पहुंचा सकते हैं।

You Might Also Like

भारत के Short Range Air Defence System …पाकिस्तान को हराने में अहम योद्धा!

IPL में विदेशी खिलाड़ियों की गैरमौजूदगी से पलट सकता है Playoffs का गणित

क्या तालिबान भारत से नज़दीकियाँ बढ़ा रहा है? भारत-पाकिस्तान तनाव के बीच एक नई विदेश नीति की दिशा

बलूच महिलाओं का दमन और विद्रोह!

भारतीय वायुसेना की बड़ी सफलता, Defence System को जाम कर कुछ Minutes में पूरा किया Operation

TAGGED: gandhi family, india history, rajiv gandhi, rajiv gandhi murder, Sonia Gandhi, thefourth, thefourthindia
Share This Article
Facebook Twitter Whatsapp Whatsapp LinkedIn
What do you think?
Love0
Sad0
Happy0
Sleepy0
Angry0
Dead0
Wink0

Follow US

Find US on Social Medias

Weekly Newsletter

Subscribe to our newsletter to get our newest articles instantly!

Please enable JavaScript in your browser to complete this form.
Loading

Popular News

sachin tendulkar and waqar younis made their debuts in 1989 1731581696129 large - The Fourth
Fourth Special

आज की तारीख – 19: सचिन और वकार का डेब्यू!

6 महीना पहले

संसद कांड में पुलिस ने किए बड़े खुलासे!

मनीष सिसोदिया को सुप्रीम कोर्ट से राहत नही

आज की तारीख – 31: 3 दिसंबर…भारतीय इतिहास में विशेष महत्व का दिन

विदाई की तैयारी में monsoon, मध्यप्रदेश के कई जिलों में बारिश कम!

You Might Also Like

imf logo - The Fourth
World

आतंक के दलाल को फिर Bailout, क्या IMF पर विश्वास करना चाहिए?

2 दिन पहले
WhatsApp Image 2025 05 14 at 2.16.56 PM - The Fourth
World

तुर्की ने भारत से किया विश्वासघात…मित्र विश्वासघात करे तो ‘महाभारत’ से सीख लेनी चाहिए

2 दिन पहले
WhatsApp Image 2025 05 13 at 5.19.24 PM - The Fourth
India

पोलाची बलात्कार मामले में पीड़िताओं को मिला न्याय, सभी 9 आरोपियों को उम्रकैद

3 दिन पहले
WhatsApp Image 2025 05 12 at 11.04.50 AM - The Fourth
Religion

बुद्ध पूर्णिमा : शांति और करुणा का पर्व

5 दिन पहले
The Fourth
  • About Us
  • Contact
  • Privacy Policy
  • Careers
  • Entertainment
  • Fashion
  • Health
  • Lifestyle
  • Science
  • Sports

Subscribe to our newsletter

Please enable JavaScript in your browser to complete this form.
Loading
© The Fourth 2024. All Rights Reserved. By PixelDot Studios
  • About Us
  • Contact
  • Privacy Policy
  • Careers
Welcome Back!

Sign in to your account

Lost your password?