अपने मौसम और सुंदरता के लिए मशहूर कश्मीर की वादियां हमेशा से ही tourists के आकर्षण का केंद्र रही हैं। हरियाली, ठंडी हवाएं और शांत पहाड़ों के बीच कुछ सुकून के पल बिताने लोग दूर-दूर से आते हैं। लेकिन कभी ये सुंदर नज़ारे झकझोर कर रख देने वाली घटनाओं के गवाह भी बन जाते हैं। 22 अप्रैल एक ऐसा ही दिन बन गया, जब जम्मू-कश्मीर के पहलगाम की फिजा अचानक गोलियों की गूंज से भर गई।
घटना का पूरा विवरण
22 अप्रैल को 2 से 3 बजे के बीच कश्मीर के पहलगाम के पास बैसारन नाम की जगह पर The Resistance Front के 4-6 आतंकियों ने हमला किया। ये एक शांत tourist spot हैं, जहां लोग मौसम का आनंद लेने और घूमने आए थे। गवाहों के मुताबिक, आतंकी सैनिकों जैसी वर्दी पहनकर जंगल से निकले और खुद को पुलिस बताकर लोगों से उनके नाम पूछने लगे। फिर अचानक उन्होंने गोली चलाना शुरू कर दी। उन्होंने ज़्यादातर पुरूषों को ही निशाना बनाया और महिलाओं को छोड़ दिया। कुछ लोगों ने बताया कि आतंकी गैर-मुसलमानों को पहचानने की कोशिश कर रहे थे। वे लोगों से कलमा पढ़ने को कहते और खतना देखा करते थे। एक महिला ने बताया कि एक हमलावर ने उससे कहा कि उसे इसलिए नहीं मारा जाएगा ताकि वह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी तक इस हमले की बात पहुँचा सके। इस आतंकी हमले में कम से कम 28 लोग मारे गए और कई गंभीर रूप से घायल हो गए।
मरने वालों में भारतीय नौसेना के लेफ्टिनेंट विनय नरवाल (26) भी थे, जिनकी 7 दिन पहले ही शादी हुई थी और वे अपना honeymoon मनाने के लिए यहां आए थे। इंदौर के सुनील नाथानियल, कानपुर के शुभम द्विवेदी, कर्नाटक के मंजूनाथ, अनंतनाग के सैयद हुसैन शाह, पश्चिम बंगाल से tourists समीर गुहा, बितान अधिकारी और IB Officer मनीष रंजन आदि शामिल हैं। केरल, ओड़िशा, महाराष्ट्र, गुजरात जैसे प्रदेशों से भी कई लोग हैं जो इस हमले का शिकार हुए हैं।
घटना के बाद की कारवाई
घटना के बाद पुलिस और सेना ने इलाके की घेराबंदी की और तलाशी अभियान शुरू किया। Helicopter से घायलों को श्रीनगर के अस्पतालों में भी ले जाया गया। इलाके में कुछ समय के लिए lockdown भी लगाया गया। गृहमंत्री अमित शाह भी कश्मीर पहुंच चुके हैं। प्रधानमंत्री मोदी भी अपनी Saudi Arabia की visit से बीच में ही वापस आ गए जहां airport पर ही NSA अजीत डोभाल और विदेश मंत्री डॉ. एस. जयशंकर ने उन्हें brief किया।
देश और दुनिया से प्रतिक्रियाएं
इस आतंकी हमले के बाद सभी ओर से प्रतिक्रियाएं भी सामने आ रही हैं। Russia के राष्ट्रपति Vladimir Putin ने इस हमले की निंदा की और कहा कि अपराध को किसी भी तरह न्यायोचित नहीं ठहराया जा सकता, दोषियों को सजा मिलेगी। US राष्ट्रपति Donald Trump ने भी कहा कि आतंकवाद के खिलाफ US भारत के साथ खड़ा हैं। Israel, Singapore, Italy जैसे देशों ने भी अपनी अपनी संवेदनाएं व्यक्त की। भारत में विपक्षी दलों के नेताओं जैसे राहुल गांधी, मल्लिकार्जुन खड़गे, जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने भी इस हमले की निंदा की हैं। बॉलीवुड और क्रिकेट की दुनिया से भी प्रतिक्रियाएं सामने आ रही हैं।
पाकिस्तान की सफाई
इस हमले के बाद पाकिस्तान से भी बयान सामने आया। पाकिस्तान के विदेश मंत्री ख्वाजा आसिफ ने कहा कि इस हमले से हमारा कोई लेना देना नहीं हैं। हमारा इससे कोई लेना-देना नहीं है। हम हर प्रारूप में आतंकवाद की निंदा करते हैं।” उन्होंने इस घटना को भारत की अंदरूनी समस्या बताते हुए इसे “home grown rebellion” करार दिया। साथ ही ये चेतावनी भी दी कि भारत ने कोई भी गलत कदम उठाया तो पाकिस्तान उसका जवाब देने के लिए तैयार है।
निष्कर्ष
इस हमले के दूरगामी प्रभाव भी देखने को मिलेंगे। Tourists का आना कम हो सकता हैं, जिससे Tourism Industry को भारी नुकसान होने की संभावना हैं। स्थानीय लोगों को रोज़गार की कमी का सामना करना पड़ेगा और उनकी आर्थिक स्थिति पर भी गलत असर पड़ेगा। यह हमला भारत को कमजोर दिखाने की एक साजिश हो सकता है, जिसका मकसद देश की security, stability और छवि को नुकसान पहुँचाना है। हालांकि भारत ने पहले भी इस तरह की घटनाओं का जवाब दिया हैं और इस बार भी उचित कारवाई हो सकती हैं।